बिजनेस डेस्क। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सब्सिडी की विभिन्न योजनाओं का पैसा सीधे लाभार्थी के बैंक खाते में जाने की योजना की असाधारण सफलता पर खुशी जताते हुए रविवार को कहा कि यह दुनिया की सबसे बड़ी स्कीम बन गयी है और इसे गिनीज बुक ऑफ वल्र्ड रिकॉर्ड में जगह मिली है। मोदी ने रेडियो पर प्रसारित मन की बात कार्यक्रम में कहा उन्हें इस बात की खुशी है कि इस योजना का सीधा लाभ गरीब व्यक्ति को मिल रहा है। करोड़ों रुपये सरलता से उसके खाते में जा रहे हैं। पहले यह सुनिश्चत करना कठिन था कि लाभार्थी का पैसा उसी के पास पहुंच रहा है। उनकी सरकार ने इसमें थोड़ा बदलाव किया है। उन्होंने कहा कि जन-धन खाते और आधार कार्ड की मदद से डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर स्कीम विश्व की सबसे बड़ी योजना बनी और इसे सफलतापूर्वक लागू कर दिया गया है। पहल योजना बहुत सफल रही। नवम्बर तक करीब 15 करोड़ रसोई गैस के उपभोक्ताओं को पहल योजना का लाभ मिला और उनके खाते में सरकारी पैसे सीधे जाने लगा। इन विभिन्न योजनाओं के तहत अब तक बैंक खातों में करीब 40 हजार करोड़ रुपए पहुंच चुका है। प्रधानमंत्री ने कहा कि सबसे बड़ी बात यह है कि इन योजनाओं का पैसा लाभार्थी को देने में बिचौलिये या सिफारिश की जरूरत नहीं है और न कोई भ्रष्टाचार की सम्भावना है। एक तरफ आधार कार्ड का अभियान, दूसरी तरफ जन-धन खाते खोलना, तीसरी तरफ राज्य सरकार और केंद्र सरकार द्वारा मिल कर लाभार्थियों की सूची तैयार करना। उनको आधार से और खाते से जोडऩा। ये सिलसिला चल रहा है। गांव में रोजगार का अवसर देने वाले महात्मा गांधी राष्ट्रीय रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) के पैसे को लेकर बहुत शिकायत आती थी लेकिन अब मजदूरी का पैसा सीधा मजदूरी करने वाले व्यक्ति के खाते में जमा होने लगे हैं। इसी तरह से छात्रवृत्ति का पैसा भी संबंधित छात्र के खाते में जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सब्सिडी की विभिन्न योजनाओं का पैसा सीधे लाभार्थी के बैंक खाते में जाने की योजना की असाधारण सफलता पर खुशी जताते हुए आज कहा कि यह दुनिया की सबसे बड़ी स्कीम बन गयी है और इसे गिनीज बुक ऑफ वल्र्ड रिकॉर्ड में जगह मिली है। मोदी ने रेडियो पर प्रसारित मन की बात कार्यक्रम में कहा उन्हें इस बात की खुशी है कि इस योजना का सीधा लाभ गरीब व्यक्ति को मिल रहा है। करोड़ों रुपये सरलता से उसके खाते में जा रहे हैं। पहले यह सुनिश्चत करना कठिन था कि लाभार्थी का पैसा उसी के पास पहुंच रहा है। उनकी सरकार ने इसमें थोड़ा बदलाव किया है। उन्होंने कहा कि जन-धन खाते और आधार कार्ड की मदद से डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर स्कीम विश्व की सबसे बड़ी योजना बनी और इसे सफलतापूर्वक लागू कर दिया गया है। पहल योजना बहुत सफल रही। नवम्बर तक करीब 15 करोड़ रसोई गैस के उपभोक्ताओं को पहल योजना का लाभ मिला और उनके खाते में सरकारी पैसे सीधे जाने लगा। इन विभिन्न योजनाओं के तहत अब तक बैंक खातों में करीब 40 हजार करोड रुपए पहुंच चुका है। प्रधानमंत्री ने कहा कि सबसे बड़ी बात यह है कि इन योजनाओं का पैसा लाभार्थी को देने में बिचौलिये या सिफारिश की जरूरत नहीं है और न कोई भ्रष्टाचार की सम्भावना है। एक तरफ आधार कार्ड का अभियान, दूसरी तरफ जन-धन खाते खोलना, तीसरी तरफ राज्य सरकार और केंद्र सरकार द्वारा मिल कर लाभार्थियों की सूची तैयार करना। उनको आधार से और खाते से जोडऩा। ये सिलसिला चल रहा है। गांव में रोजगार का अवसर देने वाले महात्मा गांधी राष्ट्रीय रोजगार गारंटी योजना(मनरेगा) के पैसे को लेकर बहुत शिकायत आती थी लेकिन अब मजदूरी का पैसा सीधा मजदूरी करने वाले व्यक्ति के खाते में जमा होने लगे हैं। इसी तरह से छात्रवृत्ति का पैसा भी संबंधित छात्र के खाते में जा रहा है।